Women will Contest Elections from Ambala: हरियाणा से भारतीय जनता पार्टी चुनावी कार्यक्षेत्र में नारी को उतारने जा रही हैं। अंबाला लोकसभा (आरक्षित) सीट की बात करें तो 17 लोकसभा चुनावों में तीन बार ऐसे मौके आए हैं जबकि महिलाएं पद अभिलाषी व्यक्ति ने जीत दर्ज की है। सबसे पहले साल 1957 में कांग्रेस के अधिकारपत्र पर सुभद्रा जोशी ने जीत दर्ज की थी।
भारतीय जनता पार्टी ने अंबाला लोकसभा सीट से
पहली बार महिला उम्मीदवार को चुनावी रण में उतारा है। अब तक यहां से दो महिलाएं संसदक सदस्य बनी हैं। भाजपा के लिए यह पहला मौका है कि चुनाव मैदान में उतर रही है। बता दें कि बंतो कटारिया के पति स्व. रतनलाल कटारिया अंबाला से तीन बार संसद-सम्बन्धी रह चुके हैं। मई 2023 में उनकी मृत्यु हो गया थी और यह सीट खाली हो गई थी। बंतो कटारिया पहली बार चुनाव लड़ रही हैं, लेकिन उनके पास राजनीति का करीब 44 साल का तज़ुर्बा है
तीन बार आए ऐसे मौके की 17 लोकसभा चुनावों में? Women will Contest Elections from Ambala
अंबाला लोकसभा (आरक्षित) सीट की बात करें, तो 17 लोकसभा चुनावों में तीन बार ऐसे मौके आए हैं, जबकि महिला प्रत्याशी ने विजय अंकित की है। सबसे पहले साल 1957 में कांग्रेस के टिकट पर सुभद्रा जोशी ने जीत दर्ज की थी।इसके बाद वर्ष 2004 व 2009 में कांग्रेस से कुमारी सैलजा ने विजय हासिल की थी । इसके बाद वर्ष 2014 और 2015 में अंबाला सीट पर भाजपा के रतनलाल कटारिया ने फतह हासिल की थी। बाकी राजनीतिक दलों ने महिला प्रत्याशियों को चुनाव में उतारा था।
कई जगा पर अकेले भी समारोह कर मांगे लोगो से वोट Women will Contest Elections from Ambala
अंबाला सीट में तीन जिले के नौ विस जगा बंतो कटारिया ने अपने पति रतनलाल कटारिया के साथ बहुत बार चुनावी चलन संचार में बहुत साथ दिया है। वे चुनाव प्रचार में हमेशा उनके साथ रहीं, हालाकि कई मौकों पर अकेले भी सम्मेलन कर मांगे अपने लिए वोट। लोग तो यह भी कहते है कि उनके पास चुनावी माहौल में ढलने और उसे किस तरह से आगे बढ़ाना है, और चुनाव जीतने का अनुभव है।
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